Punjab Auto Industry: पंजाब अब देश के सबसे तेजी से बढ़ते ऑटो कंपोनेंट मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में उभर रहा है. मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में राज्य ने उद्योग और निवेश के क्षेत्र में जो गति पकड़ी है, उसने पंजाब को ग्लोबल ऑटो इंडस्ट्री के नक्शे पर एक नई पहचान दी है. आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर, निवेशक-हितैषी नीतियां और नवाचार को बढ़ावा देने वाली सरकार की सोच के चलते राज्य में घरेलू और विदेशी दोनों स्तरों पर निवेश तेजी से बढ़ रहा है.
मंडी गोबिंदगढ़ में अगले महीने BMW के पार्ट्स बनाने वाला एक अत्याधुनिक प्लांट शुरू होने जा रहा है. करीब 150 करोड़ रुपये के निवेश से बनने वाला यह प्लांट हर साल 2.5 मिलियन यूनिट्स का उत्पादन करेगा. यह परियोजना न केवल पंजाब की औद्योगिक क्षमता को दर्शाती है, बल्कि यह भी साबित करती है कि राज्य अब अंतरराष्ट्रीय स्तर की तकनीक और क्वालिटी स्टैंडर्ड को पूरा करने में सक्षम है. उद्योग विशेषज्ञों के अनुसार, इस प्लांट के शुरू होने से क्षेत्र में हजारों प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार अवसर पैदा होंगे.
प्रशासनिक जटिलताएं कम
मुख्यमंत्री भगवंत मान की सरकार ने उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए कई अहम कदम उठाए हैं. इनमें सबसे बड़ा कदम है ‘रियल सिंगल विंडो सिस्टम’ का लागू होना. इस प्रणाली के तहत निवेशकों को लाइसेंस, परमिट और अन्य आवश्यक स्वीकृतियां एक ही प्लेटफॉर्म से मिल जाती हैं. इससे प्रशासनिक जटिलताएं कम हुई हैं और उद्योगपतियों का भरोसा राज्य सरकार पर और बढ़ा है. सरकार यह सुनिश्चित कर रही है कि पंजाब में निवेश करने वाली किसी भी कंपनी को प्रक्रियागत अड़चनों का सामना न करना पड़े.
राज्य की नई इंडस्ट्रियल पॉलिसी 2025 में सेक्टर-विशेष समितियों के गठन का प्रावधान किया गया है, जो ऑटो, इलेक्ट्रॉनिक्स, फार्मा और फूड प्रोसेसिंग जैसे क्षेत्रों पर फोकस करेंगी. इन समितियों का मुख्य उद्देश्य है एडवांस टेक्नोलॉजी और इनोवेशन को बढ़ावा देना ताकि पंजाब की एमएसएमई यूनिट्स वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा कर सकें. इससे न केवल बड़ी कंपनियों को लाभ होगा, बल्कि छोटे उद्यमियों और स्टार्टअप्स को भी सरकारी तकनीकी सहायता, स्किल ट्रेनिंग और मार्केट एक्सेस मिलेगा.
राज्य को विदेशी मुद्रा अर्जन में बढ़ोतरी
ऑटो कंपोनेंट सेक्टर में पंजाब की हिस्सेदारी वर्तमान में देश की कुल उत्पादन क्षमता का करीब 7 प्रतिशत है. विशेषज्ञों का अनुमान है कि नई नीतियों और निवेश की रफ्तार को देखते हुए यह आंकड़ा अगले पांच वर्षों में दोगुना हो सकता है. राज्य में तैयार ऑटो पार्ट्स की मांग अब सिर्फ देश में ही नहीं, बल्कि अमेरिका, यूरोप और दक्षिण एशियाई देशों में भी तेजी से बढ़ रही है. इससे राज्य को विदेशी मुद्रा अर्जन में बढ़ोतरी और औद्योगिक विकास में स्थायित्व मिला है.
साल 2025 में पंजाब में ऑटो सेक्टर में 15,000 से 20,000 करोड़ रुपये तक के नए निवेश की संभावना जताई जा रही है. यह निवेश न केवल बड़ी ऑटो कंपनियों के लिए अवसर पैदा करेगा, बल्कि स्थानीय सप्लायर्स, वेंडर्स और सर्विस प्रोवाइडर्स को भी मजबूत करेगा. इससे राज्य की सप्लाई चेन और औद्योगिक इकोसिस्टम और अधिक सशक्त होगा.
बदलाव का नेतृत्व करने के लिए तैयार
पंजाब की ऑटो इंडस्ट्री अब इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) क्रांति की दिशा में भी बड़ी भूमिका निभा रही है. राज्य की कई कंपनियां EV पार्ट्स, स्मार्ट ट्रांसमिशन सिस्टम और ग्रीन टेक्नोलॉजी के विकास में सक्रिय हैं. जैसे-जैसे भारत इलेक्ट्रिक मोबिलिटी की ओर बढ़ रहा है, पंजाब खुद को इस बदलाव का नेतृत्व करने के लिए तैयार कर रहा है. यह कंपनियां ऐसे सस्टेनेबल और फ्यूचर-रेडी सॉल्यूशंस विकसित कर रही हैं, जिनकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी मांग है.
राज्य सरकार ने युवाओं को इस औद्योगिक परिवर्तन का हिस्सा बनाने के लिए स्किल डेवलपमेंट प्रोग्राम्स शुरू किए हैं. इन कार्यक्रमों के माध्यम से इंजीनियरिंग, मैन्युफैक्चरिंग, लॉजिस्टिक्स, डिजाइन और क्वालिटी कंट्रोल जैसे क्षेत्रों में युवाओं को इंडस्ट्री की जरूरतों के अनुरूप प्रशिक्षण दिया जा रहा है. इससे वे आसानी से उच्च वेतन वाली नौकरियां पा सकेंगे और राज्य में रोजगार दर में बढ़ोतरी होगी.
पंजाब अब वैश्विक उद्योग जगत में भरोसेमंद
सरकार के इस विकास मॉडल ने यह साबित कर दिया है कि पंजाब अब केवल कृषि प्रधान राज्य नहीं रहा, बल्कि यह एक औद्योगिक पावरहाउस बन चुका है. यहां की प्रगतिशील नीतियां, शांत औद्योगिक माहौल, और निवेशक-हितैषी प्रशासन देश के अन्य राज्यों के लिए एक मिसाल बन गए हैं. BMW जैसी विश्व-स्तरीय कंपनियों का निवेश इस बात का प्रमाण है कि पंजाब अब वैश्विक उद्योग जगत में भरोसेमंद और प्रतिस्पर्धी राज्य बन चुका है.
आर्थिक विश्लेषकों का मानना है कि यदि राज्य सरकार इसी रफ्तार से औद्योगिक सुधारों और निवेश प्रोत्साहन पर काम करती रही, तो आने वाले दशक में पंजाब भारत की टॉप तीन मैन्युफैक्चरिंग डेस्टिनेशंस में शामिल हो सकता है. यह न केवल राज्य की अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाई देगा, बल्कि लाखों युवाओं के लिए समृद्धि और अवसरों का नया द्वार खोलेगा.
रोजगार और निवेश के क्षेत्र में उदाहरण किया स्थापित
पंजाब की ऑटो कंपोनेंट इंडस्ट्री आज इनोवेशन, ग्लोबल कंपटीशन और सस्टेनेबल रोजगार का आदर्श मॉडल बन चुकी है. मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में राज्य ने उद्योग, रोजगार और निवेश के क्षेत्र में जो उदाहरण स्थापित किया है, वह देशभर में विकास की नई परिभाषा गढ़ रहा है.